बालपुर गोंडा। सरयू नहर को चालू हुए दो साल बीतने के बावजूद धनई पट्टी माइनर क्षेत्र के सैकड़ों गांवों के हजारों किसानों के गेहूं की सिंचाई के लिए नहर का पानी नसीब नहीं हो पाया है। सरयू नहर चालू होने से जिले के सभी किसानों के खेतों की सिंचाई सुविधा उपलब्ध कराने का सरकारी दावा इस क्षेत्र के किसानों के लिए हवा हवाई साबित हो रहा है। इससे इस क्षेत्र खासे हैरान परेशान नजर आ रहे हैं। विभागीय अधिकारियों व कर्मचारियों की भारी लापरवाही का खामियाजा क्षेत्रीय किसानों को भुगतना पड़ रहा है।
सरयू नहर की शाखा धनईपट्टी माइनर की लंबाई करीब 19 किलोमीटर है। धनईपट्टी मुख्य नहर की 9 माइनर शाखाएं है इससे इसका कुल दायरा बढ़कर करीब 95 किलोमीटर का हो जाता है। परसागोंड़री,सोनहरा,हड़ियागाड़ा, गो गिया, सालपुर धौताल, धानी, धनखर,नरायनपुर मर्दन, सरैंया चौबे, तुलसीपुर, चांदपुर, खरगूपुर, दुल्लापुर, ठडक्कीपट्टी, धनईपट्टी समेत 17 गांव धनईपट्टी मुख्य नहर से सीधे जुड़े हुए है। इस क्षेत्र के हजारों लघु एवं सीमांत किसानों को अपने खेत की सिंचाई के लिये इस भीषण मंहगाई में डीजल के लिये लाखों रुपये खर्च करने पड़ रहे हैं। इससे खेती की लागत भी काफी हद तक बढ़ जाती है। इससे क्षेत्र के आम किसानों को महंगाई की भारी मार झेलनी पड़ रही है।
धनईपट्टी मुख्य नहर के 9 माइनर है। इनमें सबसे पहले बेलवानोहर माइनर करीब 8 किलोमीटर का है। इसके तहत बेलवानोहर,सालपुर धौताल,धनखर,डोमाकल्पी, ज्ञानपुर सुभागपुर, समेत आधा दर्जन से अधिक गांव आते है। इसके बाद दूसरे नंबर पर दुरगोंड़वा माइनर करीब 3 किलोमीटर लंबा है। इसमें दुरगोंड़वा व नरायनपुर मर्दन 2 ग्रामपंचायतों के करीब दो दर्जन गांव शामिल है। तीसरे स्थान पर करनपुर माइनर करीब 3 किलोमीटर लंबा है। इसमें तुलसीपुर व करनपुर समेत 2 ग्राम पंचायतों के करीब डेढ़ दर्जन गांवों के नाम शामिल है। चौथे स्थान पर चांदपुर माइनर भी करीब 3 किलोमीटर का है। इसके तहत चांदपुर ग्राम पंचायत के करीब दर्जनभर गांव आते है।
पांचवे स्थान पर खरगूपुर माइनर करीब 3.5 किलोमीटर का है। इसमें खरगूपुर ग्रामपंचायत के करीब डेढ़ दर्जन गांव आते है। छठवें स्थान पर गोंडवा माइनर करीब 4 किलोमीटर लंबा है। इसके तहत दुल्लापुर व खरगूपुर के ज्यादातर गांव आते है। सातवें स्थान पर भटपुरवा माइनर करीब 9 किलोमीटर लंबा है। इसके तहत ठड़क्कीपट्टी, धनईपट्टी,माधवपुर, हरखापुर,लव्वा टेपरा, चिरेबसना,निहालपुर समेत 7 ग्रामपंचायतों के ज्यादातर गांव आते हैं। आठवें स्थान पर लव्वाटेपरा माइनर करीब 3.5 किलोमीटर का है। इसमें लव्वाटेपरा, धनईपट्टी, विरसिंहपुर समेत तीन गाँवों के क्षेत्र आते है। नवें स्थान पर डिडसिया कला माइनर करीब 5.5 किलोमीटर लंबा है। इसमें डिडसिया कला, हरखापुर,खरगूपुर समेत तीन ग्राम पंचायतों के गांव आते है।
इस नहर के चालू होने से क्षेत्र के करीब 47 गाँवों के 20 हजार किसानों की 7000 हेक्टेयर भूमि की सिंचाई का पानी मिलने का सपना सपना बनकर रह गया है। सिंचाई विभाग एसडीओ के नंबर पर बार बार काल करने के बावजूद फोन नहीं उठा इसलिए सम्पर्क नहीं हो पाया।